मित्रो आप ने हमारे इसी ब्लाग पर वैदिक ग्रंथो मे चुम्बक का उल्लेख- http://bharatiyasans.blogspot.in/2014/01/magnetic-levitation-and-hindu-temples.html भारतीय वास्तुकला मे चुम्बक का उपयोगचुंबकीय उत्तोलन और हिंदू मंदिर
अब आप पढंगे कि भारतीय ॠषियो(वैज्ञानिको द्वारा) चुम्बक का वर्गीकरण-
लगभग 11-12 ईस्वी के ग्रंथ रसावर्ण तंत्र मे चुम्बक के प्रकारो का वर्णन किया है-
*भ्रामक
*चुम्बक
*कर्षण
*द्रावक
*रोमक
ऊपर 5 प्रकारो के 6उप प्रकार-
* एक तरफ़ा( single faced)
*दो तरफ़ा (double faced)
*तीन तरफ़ा(three faced)
*चार तरफ़ा ( four faced)
*पाच तरफ़ा(five faced)
*अनेक तरफ़ा(multi faced)
ऊपर के कुल 30 प्रकारो के चुम्बको को 3 रंगो मे विभाजित किया है-
*पीला
*लाल
*काला
इस प्रकार चुम्बक को कुल 90
प्रकार मे विभाजित किया।
ॐ
,,,,,,,,,,,,,,,,,,जय मा भारती
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